देश—विदेश

बोहेको: उत्तराखंड में औद्योगिक भांग की सफलतापूर्वक खेती  

बोहेको: उत्तराखंड में औद्योगिक भांग की सफलतापूर्वक खेती  

देश—विदेश
बोहेको (BOHECO) ने उत्तराखंड में 0.3% टेट्राहाइड्रोकैनाबिनोल (टीएचसी) कॉन्टेंट के साथ स्टैंडर्डाइज़्ड इंडस्ट्रियल हेम्प के पहले प्रोटोटाइप की सफलतापूर्वक खेती की हिमांतर विशेष संवाददाता मुंबई. भारत की अग्रणी इंडस्ट्रियल हेम्प (औद्योगिक भांग) और मेडिकल कैनाबिस (चिकित्सा गांजा) कंपनी, बॉम्बे हेम्प कंपनी (BOHECO), उत्तराखंड, का नाम भारत में because स्टैंडर्डाइज़्ड इंडस्ट्रियल हेम्प के पहले चक्र की सफलतापूर्वक खेती करने वाली कम्पनीज़ में से एक के रूप में दर्ज है. जिला प्रशासन, बागेश्वर और कृषि विभाग, बागेश्वर के सहयोग से बीज प्रजनन और पादप आनुवंशिकी (प्लांट जेनेटिक्स) में व्यापक शोध के माध्यम से, स्टैंडर्डाइज़्ड इंडस्ट्रियल हेम्प में 0.3% अनुमानित टीएचसी कंसंट्रेशन है. ज्योतिष यह पहली बार है, जब भारत में कोई कंपनी सरकारी दिशानिर्देशों के अनुसार मानकीकरण के लिए इंडस्ट्रियल-ग्रेड हेम्प क...
विचारधारा के कारण एक कलाकार की मौत पर ख़ुशी मनाने, नफ़रत दिखाने वाले ‘बौद्धिक जिहादी’!

विचारधारा के कारण एक कलाकार की मौत पर ख़ुशी मनाने, नफ़रत दिखाने वाले ‘बौद्धिक जिहादी’!

देश—विदेश
ललित फुलारा करोड़ों लोगों को हंसाने वाले एक कलाकार राजू श्रीवास्तव की मौत के बाद जिस तरह से सोशल मीडिया पर उनकी विचारधारा के कारण नफ़रत फैलाई जा रही है, प्रधानमंत्री मोदी की तारीफ़ वाले उनके वीडियोज को साझा कर उनके ख़िलाफ अनगल लिखा जा रहा है, असल मायने में वो इस देश के कथित ज़हरीले वामपंथियों का 'बौद्धिक जिहाद' है. यह बौद्धिक जिहाद व्यक्ति की उपलब्धियों, उसकी कला, पेशे को न देखकर सिर्फ यह देखता है कि वो व्यक्ति आखिर में दक्षिणपंथ की तरफ झुका क्यों? एक कलाकार  ने आख़िर बीजेपी की तारीफ़ क्यों की? वो बीजेपी से क्यों जुड़ा? जब मौत के बाद प्रशंसक अपने पसंदीदा कॉमेडियन राजू श्रीवास्तव को याद कर रहे हैं, उस वक्त यह 'बौद्धिक जिहाद' उनके प्रति सिर्फ इसलिए नफ़रत फैला रहा है कि उन्होंने मोदी की तारीफ़ कर दी या फिर वो बीजेपी में शामिल हो गये थे. राजू श्रीवास्तव की मृत्यु को अभी चंद घंटे भी नहीं बी...
नहीं रहे मशहूर हास्य कलाकार राजू श्रीवास्तव, कई नेताओं ने दी श्रद्धांजलि

नहीं रहे मशहूर हास्य कलाकार राजू श्रीवास्तव, कई नेताओं ने दी श्रद्धांजलि

देश—विदेश
मशहूर हास्य कलाकार राजू श्रीवास्तव अब इस दुनिया में नहीं रहीं रहे, उनका निधन हो गया. उनको 10 अगस्त को जिम में वर्कआउट दौरान राजू को दिल का दौरा पड़ा था, जिसके बाद उन्हें एम्स में भर्ती करवाया गया था. पिछले 41 दिन से वे वेंटिलेटर पर मौत से जंग लड़ रहे थे।राजू श्रीवास्तव के मौत की खबर सामने आने के बाद से ही पूरे देश में शोक की लहर दौड़ गई है. हर कोई नम आंखों से अपने हास्य कलाकार को श्रद्धांजलि दे रहा है....
नोएडा ट्विन टावर: हम कहाँ जा रहे हैं? 

नोएडा ट्विन टावर: हम कहाँ जा रहे हैं? 

देश—विदेश, समाज
प्रो. गिरीश्वर मिश्र  टीवी पर नोएडा में सुपर टेक के बहुमंज़िले ट्विन टावरों के गिराने और उससे उड़ते धूल-धुआँ के भयावह दृश्य दिखाने के कुछ समय बाद उसके निर्माता का बयान आ रहा था कि उन्होंने सब कुछ बाक़ायदा यानी नियम क़ानून से किया था और हर कदम पर ज़रूरी अनुमति भी ली थी। शायद 800 करोड़ रूपयों की लागत की यह सम्पत्ति थी जिसे सिर्फ़ 10 सेकेंड में जमीदोज कर दिया गया। वहाँ आस-पास रहने वाले  राहत की साँस ले रहे हैं कि सालों से ठहरी धूप और हवा उन तक पहुँच सकेगी। निश्चय ही यह एक क़ाबिले गौर घटना है जो भ्रष्टाचार होने और उस पर लगाम लगाने इन दोनों ही पक्षों पर रोशनी डालती है। टीवी के ऐंकर ने यह भी बताया कि सालों से चलते इस पूरे मामले में काफ़ी बड़ी संख्या में अधिकारी संलिप्त रहे थे पर तीन के निलम्बन के सिवा शेष पर अभी तक कोई कारवाई नहीं हुई है। उत्तर प्रदेश के मंत्री का बयान था कि जाँच के अनुसार उचि...
हिन्दी भारत की आजादी और देश की एकता की प्रतीक

हिन्दी भारत की आजादी और देश की एकता की प्रतीक

देश—विदेश
हिमांतर ब्यूरो, नई दिल्ली हिन्दी भाषा भारत के गौरव की प्रतीक भाषा है,देश की आजादी का सबसे बड़ा अस्त्र और हमारे स्वाधीनता सेनानियों की मुखर स्वर रही है. जिस प्रकार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व में देश गुलामी के प्रतीकों से मुक्त हो रहा है तो हमें पूर्ण विश्वास है कि हिन्दी भी अपनी संवैधानिक स्थिति और जन स्वीकार्यता की शक्ति से अंग्रेजी का प्रभाव कम कर देगी. मंत्रालयों और सरकारी विभागों में फाइलों पर हिन्दी की टिप्पणियों को प्रोत्साहन मिलना चाहिए. ये विचार नई दिल्ली नगर पालिका परिषद के उपाध्यक्ष वरिष्ठ भाजपा नेता श्री सतीश उपाध्याय ने हिन्दी सप्ताह कार्यक्रमों के उद्घाटन के अवसर पर पालिका केंद्र सभागार,नई दिल्ली में व्यक्त किए. समारोह के अतिविशिष्ट अतिथि वरिष्ठ पत्रकार और ऋतम डिजिटल नेटवर्क के कंटेंट हेड प्रो.सूर्य प्रकाश सेमवाल ने कहा कि आजादी की लड़ाई में हिन्दी को मुख्य ...
अरुणाचल: सीडीएस जनरल बिपिन रावत के नाम पर मिलिट्री स्टेशन

अरुणाचल: सीडीएस जनरल बिपिन रावत के नाम पर मिलिट्री स्टेशन

देश—विदेश
हिमांतर ब्यूरो भारत के पहले चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल बिपिन रावत ने 1999-2000 तक किबिथु में कर्नल के रूप में अपनी बटालियन 5/11 गोरखा राइफल्स की कमान संभाली और क्षेत्र की सुरक्षा संरचना को मजबूत करने में because महत्वपूर्ण योगदान दिया. उनकी दूरदर्शिता ने क्षेत्र में ढांचागत विकास और सामाजिक विकास को लागू करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई, जिससे स्थानीय आबादी को बहुत फायदा हुआ. उनकी उत्कृष्ठ सेवाओं के लिए सीडीएस दिवंगत जनरल बिपिन रावत को 10 सितम्बर 2022 को सम्मान दिया गया. अरुणाचल प्रदेश के किबिथु में एक सैन्य स्टेशन और सड़क को उनका नाम दिया गया. ज्योतिष भारतीय सेना के पहले चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ दिवंगत जनरल बिपिन रावत को 10 सितम्बर 2022 को सम्मान दिया गया. अरुणाचल प्रदेश के किबिथु में एक सैन्य स्टेशन और सड़क को उनका नाम दिया गया. किबिथु भारत के पूर्वी हिस्से में लोहित घाटी के तट पर बसा एक छोट...
आईए एंड सी द्वारा 8 से 11 सितम्बर तक प्रगति मैदान में फोटो प्रदर्शिनी का आयोजन

आईए एंड सी द्वारा 8 से 11 सितम्बर तक प्रगति मैदान में फोटो प्रदर्शिनी का आयोजन

देश—विदेश
वाई एस बिष्ट, नई दिल्ली इन्क्रेडिबल आर्ट एंड कल्चर द्वारा नेशनल क्राफ्ट इंपोरियम एंड हस्तकला एकेडमी, प्रगति मैदान, नई दिल्ली में फोटो प्रदर्शिनी का आयोजन किया गया है. यह फोटो प्रदर्शिनी 8 सितम्बर से 11 सितम्बर 2022 तक चलेगी तथा 38 लोगों ने इस फोटो प्रदर्शिनी में प्रतिभाग किया है. इस फोटो प्रदर्शिनी का उद्घाटन पूर्व केंद्रीय मंत्री शिव प्रसाद शुक्ला, वस्त्र मंत्रालय, सचिव, उपेंद्र प्रसाद सिंह, इन्क्रेडिबल आर्ट एंड कल्चर की चेयरपर्सन एवं डारेक्टर रमा उप्रेती, आईए एंड सी के फाउंडर एंड डारेक्टर तारा चंद उप्रेती, आईए एंड सी के क्यूरेटर आशीष मिश्रा, एयर मार्शल (रि.) वीपीएस राणा ने किया. इस अवसर पर पूर्व केंद्रीय मंत्री शिव प्रसाद शुक्ला ने कहा कि भारत की कला और संस्कृति का बड़ा गौरवशाली इतिहास है जिसे दुनियाभर में पहचाना और सराहा जाता है. हालांकि, हमारी प्रतिभा और रचनात्मकता की क्षमता का पत...
आजादी के अमृत महोत्सव में गुमनाम नायकों की प्रतिष्ठा

आजादी के अमृत महोत्सव में गुमनाम नायकों की प्रतिष्ठा

देश—विदेश
प्रेस क्लब ऑफ इंडिया में उत्तराखंड के विभिन्न क्षेत्रों के लोगों को किया गया सम्मानित हिमांतर ब्यूरो, नई दिल्ली भारत अपनी आजादी के अमृत महोत्सव में कुशल राजनीतिक नेतृत्व के कारण सभी जगह और हर मोर्चे पर प्रतिष्ठित हो रहा है. सुनियोजित दुष्प्रचार के जरिए जो विमर्श गढ़े गए उनकी कलई खुल रही है. सत्ता के इशारे पर चाहे राजशाही ने हो या लोकतांत्रिक निरंकुशता ने, जिसने भी देश की आजादी के महानायकों को हाशिए पर पहुंचाया ,देश उनकी वास्तविकता को भांपकर अब धूल चटा रहा है. अपने एक ही जीवन में मृत्युदंड की सजा पाने वाले because वीर दामोदर सावरकर हों या 84 दिन की भूख हड़ताल कर अंग्रेजी दासता और निरंकुश राजशाही के विरुद्ध बिगुल बजाने वाले टिहरी के मुक्तिनायक अमर बलिदानी श्रीदेव सुमन. इस परंपरा के  असंख्य राष्ट्रभक्तों के सत्कर्म और समर्पण कोई नहीं भुला सकता. ज्योतिष देश में नई शिक्षा नीति में म...
उदयपुर में जिहादी आतंकियों द्वारा कन्हैया की नृशंस हत्या के विरोध में रोष प्रदर्शन

उदयपुर में जिहादी आतंकियों द्वारा कन्हैया की नृशंस हत्या के विरोध में रोष प्रदर्शन

देश—विदेश
सैकड़ों विहिप बजरंग दल कार्यकर्ताओं ने गिरफ्तारी दी हिमांतर ब्यूरो, नई दिल्ली विश्व हिन्दू परिषद बजरंग दल ने हिन्दू युवक कन्हैया लाल की दुकान में घुस कर नृशंस हत्या के विरोध में रोष प्रदर्शन किया. राजस्थान के उदयपुर में रहने वाले कन्हैया लाल का अपराध केवल इतना था की वो अपने धर्म की रक्षा के लिया खड़ा हुआ. आज भारत में रहने वाले हिंदू को अपने धर्म की रक्षा और अपने स्वाभिमान के लिए अपने सर की बली देना पड़ रही है और प्रशासन एक मूक दर्शक की भाति हाथ बांधे खड़ा है. विश्व हिंदू परिषद इस हत्या की कड़ी निंदा करता है और प्रशासन से उच्च कार्यवाही करने की अपील करता है. कन्हैया लाल ने नूपुर शर्मा के समर्थन में सोशल मीडिया पर एक पोस्ट डाली थी जिसके  बाद दो मुस्लिम व्यक्तियो ने उसके पिता को जान से मारने की धमकी दी और कल 28 जून को गला रेत कर मार दिया गया. राजस्थान के उदयपुर में दिन दहाड़े हुई इस हत...
वैश्विक तथा आर्थिक दबावो ने तैयार किया ‘अग्निपथ’!

वैश्विक तथा आर्थिक दबावो ने तैयार किया ‘अग्निपथ’!

देश—विदेश
प्रमोद साह यद्यपि विश्व में साम्राज्य के विस्तार का because इतिहास, मजबूत सेनाओं के इतिहास से जुडा़ रहा है. सेनाओं की मजबूती हमेशा उनके आर्थिक तथा सामाजिक हितों की सुरक्षा से ही प्राप्त होती रही हैं. माना जाता है कि अक्कादियन साम्राज्य के संस्थापक  अक्कड़ के सरगोन  ने पहली स्थायी पेशेवर सेना बनाई थी. असीरिया के तिग्लाथ -पिलेसर III (शासनकाल 745-727 ईसा पूर्व) ने पहली असीरिया की स्थायी सेना बनाई. ज्योतिष हालांकि उनके राज्य में भी अस्थाई और ठेके की सेना भी थी, लेकिन आर्थिक सुरक्षा ने स्थाई सेना की क्षमता को परिष्कृत किया. भारत में घननंद ने स्थाई सेना रखने की परंपरा प्रारंभ की उसकी सेना एक लाख से अधिक थी. becauseजब चंद्रगुप्त मौर्य ने साम्राज्य की स्थापना की तो चाणक्य ने सबसे पहले स्थाई और विश्वसनीय सेना पर जोर दिया, तब मौर्य वंश की सेना की संख्या 6लाख से अधिक हो गई थी .जिसने पूरे हिंदुस्ता...