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उत्तराखंड राज्य आंदोलन के जननायक

उत्तराखंड राज्य आंदोलन के जननायक

स्मृति-शेष
विपिन त्रिपाठी की पुण्यतिथि (30 अगस्त) पर विशेष डॉ. मोहन चंद तिवारी “गांव से नेतृत्व पैदा होने तक मैं गांव में रहना पसंद करूंगा. सत्ता पगला देती है. समाजवादी बौराई सत्ता से दूर रहें.”                                 -विपिन त्रिपाठी 30 अगस्त को उत्तराखंड राज्य आंदोलन के जननायक और द्वाराहाट क्षेत्र के विकास पुरुष श्री विपिन त्रिपाठी जी की पुण्यतिथि है. उत्तराखण्ड की आजादी और वहां की जनता के मौलिक अधिकारों के लिए जीवन पर्यंत संघर्ष करने वाले जननायकों में कुछ ही ऐसे नेता हैं जिन्हें देवभूमि उत्तराखण्ड का गौरव माना जा सकता है, उनमें द्वाराहाट क्षेत्र के संघर्षशील नेता, जुझारू पत्रकार, ‘द्रोणांचल प्रहरी’ के संपादक, कर्मठ समाज सेवी, क्षेत्र के विधायक और उक्रांद के अध्यक्ष रहे स्व. विपिन त्रिपाठी जी का नाम सबसे ऊपर आता है. उत्तराखंड आंदोलन समेत समाज के विभिन्न क्षेत्रों में जन आंदोलनो...
हमारे हिस्से के प्रो. डीडी पंत

हमारे हिस्से के प्रो. डीडी पंत

संस्मरण
सुप्रसिद्ध भौतिकशास्त्री और हिमालय के चिंतक प्रो. डीडी पंत की पुण्यतिथि (11 जून, 2008) पर विशेष चारु तिवारी मैं तब बहुत छोटा था. नौंवी कक्षा में पढ़ता था. यह 1979-80 की बात है. बाबू (पिताजी) ने बताया कि दुनिया के एक बहुत बड़े वैज्ञानिक आज बग्वालीपोखर में आ रहे हैं. बग्वालीपोखर में उन दिनों सड़क तो नहीं आई थी. हां, बिजली के पोल गढ़ गये थे, या कहीं बिजली आ भी गई थी. हमारे लिये वैसे भी अपने क्षेत्र के बाहर के आदमी को देखना ही कौतुहलपूर्ण था. वैज्ञानिकों और उनकी खोजों के बारे में किताबों में ही पढ़ते थे. हमें लगता था कि वैज्ञानिक आम आदमी से कुछ अलग होते होंगे. प्रतिभा और विद्वता में तो होते ही हैं, लेकिन हमें लगता था कि देखने में भी अलग होते होंगे. प्रो. डीडी पंत जी को पहली बार दूर से देखने का सुख मात्र एक वैज्ञानिक को देखने की बालसुलभ जिज्ञासा थी. उस समय पृथक उत्तराखंड राज्य के ल...