Tag: शिवरात्रि

जापान में बनेगा शिव मंदिर – डॉ. होसी तकायुकी!

जापान में बनेगा शिव मंदिर – डॉ. होसी तकायुकी!

देश—विदेश
महाशिवरात्रि के पावन अवसर पर  श्री लाल बहादुर शास्त्री राष्ट्रीय संस्कृत विश्वविद्यालय एवं नवयोग सूर्योदय सेवा समिति के संयुक्त तत्वावधान में एक दिवसीय अंतर्राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन किया गया. इस विशेष आयोजन में आध्यात्मिक गुरु बालकुंभ गुरुमुनि डॉ. होसी तकायुकी, अगस्त्य फाउंडेशन, टोक्यो, जापान से अपने 30 जापानी साधकों के साथ पधारे. डॉ. होसी तकायुकी ने अपने आशीर्वचनों से उपस्थित योग साधकों को लाभान्वित किया तथा हवन एवं यज्ञों की प्रासंगिकता पर विस्तृत चर्चा की. उन्होंने बताया कि अब तक वे स्वयं 300 से अधिक हवन कर चुके हैं. भारत में अपने प्रवास के दौरान उन्होंने हरिद्वार का भ्रमण किया, जहां उन्हें आत्मसाक्षात्कार प्राप्त हुआ और अपने पूर्व जन्म के अनुभव भी होने लगे. उन्होंने शिवरात्रि के इस पावन अवसर पर भगवान शिव की भक्ति का विशेष उल्लेख किया और कहा, "हम सभी के मन में शिव हैं." उन्हो...
शिवरात्रि विशेष  : भारत में प्रेम का प्रतीक हैं अर्धनारीश्वर शिव!

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ट्रैवलॉग
अरूप में रूप:  शिव-  सौंदर्यम मंजू दिल से… भाग-27 मंजू काला खेले मसाने में होरी चिदंबर खेले मसाने में होरी भूत- पिशाच बटोरे दिगंबर खेले मसाने में होरी! शिव का नाद करने से पहले मै एक विचत्र होली का वर्णन करना चाहती हूँ! वह विचित्र होली है जिसे भगवान शिव खेलते हैं, वो भी काशी के मणिकर्णिका घाट पर! रंग एकादशी के दूसरे दिन काशी में स्थित श्मशान पर  चिताओं की भस्मी के साथ होली खेलने की एक अनूठी परंपरा है। पौराणिक कथाओं के अनुसार इस परंपरा की शुरुआत शंकरजी से ही मानी जाती है। मान्यताओं के अनुसार- जब भगवान शिव, पार्वती का गौना कराने के लिए आये थे तो उनके साथ भूत, प्रेत, पिशाच, यक्ष गन्धर्व, किन्नर जीव जंतु आदि  थे,  और  उन्होंने वहीं मणिकर्णिका पर होलिकोत्सव - श्मशान पर चिताओं की भस्मी से  खेल कर मनाया! लखि सुंदर फागुनी छटा के मन से रंग-गुलाल हटा के चिता, भस्म भर झोरी दिगंबर...