Tag: तुंगनाथ

पंचकेदार : 20 मई को मद्महेश्वर महादेव एवं 10 मई को तुंगनाथ मंदिर के खुलेंगे कपाट

पंचकेदार : 20 मई को मद्महेश्वर महादेव एवं 10 मई को तुंगनाथ मंदिर के खुलेंगे कपाट

धर्मस्थल
बैशाखी के शुभ अवसर पर पंचकेदार गद्दीस्थल श्री ओंकारेश्वर मंदिर उखीमठ में यज्ञ हवन के पश्चात विधि-विधान तथा पंचांग गणना पश्चात आचार्य गणों-वेदपाठियों के द्वारा मंदिर समिति अधिकारियों-हकहकूकधारियो की उपस्थिति में कपाट खुलने की तिथि निश्चित हुई जबकि श्री तुंगनाथ जी के कपाट खुलने की तिथि शीतकालीन गद्दी स्थल श्री मार्कंडेय मंदिर ऊखीमठ में पूजा-अर्चना पंचाग गणना के पश्चात तय हुई। इस अवसर पर श्री बदरीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति (बीकेटीसी) अध्यक्ष अजेंद्र अजय ने अपने संदेश में श्रद्धालुओ को बैशाखी की शुभकामनाएं दी है और कहा कि श्री मदमहेश्वर तथा तुंगनाथ जी की यात्रा शुरू होने से पहले मंदिर समिति यात्रा तैयारियों में जुट गयी है। बीकेटीसी अध्यक्ष अजेंद्र अजय आज शायंकाल में श्री मद्महेश्वर भगवान के डोली में आरोहण के बिखौत मेला कार्यक्रम में शामिल होने भगवान मद्महेश्वर के चलविग्रह के दर्शन हेतु श्री ओंक...
तुंगनाथ: एक तरफ झुक रहा है एशिया का सबसे ऊंचा शिव मंदिर

तुंगनाथ: एक तरफ झुक रहा है एशिया का सबसे ऊंचा शिव मंदिर

रुद्रप्रयाग
रुद्रप्रयाग जिले में तुंगनाथ मंदिर एशिया में समुद्रतल से सबसे ऊंचाई पर स्थित शिवालय है. पंच केदार में गिने जाने वाला तृतीय तुंगनाथ मंदिर 5 से 6 डिग्री तक झुक गया है जबकि मंदिर के अंदर बनी मूर्तियों और सभामंडप में 10 डिग्री तक झुकाव आ गया है. इस बारे में श्रीबदरीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति ने एएसआई को पत्र भेजा है. इसमें मंदिर का संपूर्ण अध्ययन कर यथाशीघ्र संरक्षण करने को कहा गया है. मंदिर के मठाधिपति राम प्रसाद मैठाणी का कहना है कि वर्ष 1991 में आए भूकंप और समय-समय पर प्राकृतिक आपदाओं से मंदिर पर व्यापक असर पड़ा है. वर्ष 2017-18 में एएसआई ने मंदिर का सर्वेक्षण करने के लिए ग्लास स्केल भी लगाईं थी. अब विभाग ने एक रिपोर्ट जारी कर मंदिर में झुकाव आने की बात कही है. वर्ष 1991 के उत्तरकाशी भूकंप और 1999 के चमोली भूकंप के साथ ही 2012 की ऊखीमठ व 2013 की केदारनाथ आपदा का भी इस मंदिर पर असर पड़ा है. ...
राष्ट्रीय स्मारक घोषित होगा तुंगनाथ मंदिर, एशिया में समुद्रतल से सबसे ऊंचाई पर स्थित है शिवालय

राष्ट्रीय स्मारक घोषित होगा तुंगनाथ मंदिर, एशिया में समुद्रतल से सबसे ऊंचाई पर स्थित है शिवालय

रुद्रप्रयाग
पंचकेदारों में से तृतीय केदार तुंगनाथ मंदिर को राष्ट्रीय स्मारक घोषित किया जाएगा. इसके लिए भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण ने राष्ट्रीय स्मारक को लेकर आपत्तियां मांगी है. रुद्रप्रयाग जिले में तुंगनाथ मंदिर एशिया में समुद्रतल से सबसे ऊंचाई पर स्थित शिवालय है. तुंगनाथ मंदिर 12800 फीट की ऊंचाई पर स्थापित है. लंबे समय से भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग की ओर से मंदिर को राष्ट्रीय धरोहर घोषित करने की कवायद चल रही है. पुरातत्व विभाग के प्रभारी अधिकारी देवराज सिंह रौतेला ने बताया कि प्राचीन मंदिर तुंगनाथ को राष्ट्रीय महत्व स्मारक घोषित करने के लिए केंद्र सरकार ने 27 मार्च, 2023 को अधिसूचना जारी की है. प्राचीन स्मारक को राष्ट्रीय महत्व को घोषित करने पर यदि कोई आपत्ति या सुझाव हो तो इस अधिसूचना जारी होने की तारीख से दो महीने के भीतर महानिदेशक, भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण नई दिल्ली को आपत्तियां भेज सकते ह...